मुसलमानों का मुकद्दर तय नहीं कर पाएगा इजराइल, ईरान के कमांडर ने खींच दी धर्म वाली लकीर

मुसलमानों का मुकद्दर तय नहीं कर पाएगा इजराइल, ईरान के कमांडर ने खींच दी धर्म वाली लकीर

ईरान और इजराइल के बीच तनाव कम नहीं हुआ है. एक ओर तेहरान, यहूदी शासन पर जवाबी हमले की तैयारी कर रहा है तो वहीं दूसरी ओर उसके कमांडर एक के बाद एक इजराइल को धमकियां दे रहे हैं.

फिलिस्तीन के मुद्दे पर सऊदी अरब के तेवर से ईरान का हौसला बढ़ गया है. क्षेत्र में शिया-सुन्नी की खाई को पाटते हुए गाजा युद्ध ने इजराइल और सऊदी के बीच संबंध सुधार के तमाम रास्ते फिलहाल बंद कर दिए हैं. ऐसे में ईरान रोज़ाना इजराइल को चेतावनी जारी कर ये संदेश देने की कोशिश में जुटा है कि अब वह इजराइल को मनमानी नहीं करने देगा.

IRGC प्रमुख की इजराइल को बड़ी धमकी

दरअसल ईरान के रिवोल्यूशनरी गार्ड्स के प्रमुख हुसैन सलामी ने इजराइल को धमकी देते हुए बदला लेने की बात कही है. उन्होंने कहा है कि, ‘हमारी नज़रें यहूदी शासन पर टिकी हैं और हम अंत तक लड़ेंगे.’

सलामी ने कहा कि ईरान, इजराइल को मुसलमानों की किस्मत तय करने से रोकेगा और बदला लेगा. हम दर्दनाक हमलों से जवाब देंगे- बस इंतज़ार करो और देखो.

यहूदी शासन का पतना होगा- फदावी

वहीं IRGC के डिप्टी कमांडर अली फदावी भी यहूदी शासन पर जुबानी हमला करने से पीछे नहीं रहे. उन्होंने इजराइल को धमकी देते हुए कहा है कि, ‘जब यहूदी शासन का पतन होगा तो पूरी दुनिया झूठ पर धर्म की जीत की गवाह बनेगी. यह अल्लाह का वादा है, कि अल्लाह का पक्ष जीतेगा और शैतानी ताकतों की हार होगी.’

एक और हमले की तैयारी में जुटा ईरान

ईरान ने एक अक्टूबर को इजराइल पर 180 बैलिस्टिक मिसाइलों से हमला किया था. तेहरान की हुकूमत ने इसे इस्माइल हानिया, हसन नसरल्लाह और IRGC कमांडर निलफोरुशन की हत्या का बदला बताया, यही नहीं इस हमले के बाद जब सुप्रीम लीडर खामेनेई ने जुमे की नमाज में खुतबा पढ़ा तो इजराइल को साफ-साफ शब्दों में कह दिया कि जरूरत पड़ी तो ईरान फिर हमला करेगा.

एक अक्टूबर के हमले का पलटवार इजराइल कर चुका है. उसने पिछले महीने की 26 तारीख को ईरान के सैन्य और रणनीतिक ठिकानों पर अटैक किया था जिसमें एक नागरिक समेत 5 लोगों की मौत हो गई. जैसा कि सुप्रीम लीडर खामेनेई ने कहा था- ‘जरूरत पड़ी तो ईरान दोबारा हमला करने से पीछे नहीं हटेगा’, माना जा रहा है वह मौका आ चुका है. ईरान ने इजराइली आक्रमण को अपनी संप्रभुता पर हमला बताया है और ‘ऑपरेशन ट्रू प्रॉमिस 3’ की तैयारी शुरू कर दी है, ऐसा कहा जा रहा है कि इस बार तेहरान 13-14 अप्रैल और एक अक्टूबर के हमले से भी कहीं ज्यादा घातक प्रहार कर सकता है.

Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!